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नींद नहीं आना एक लक्षण है, जो किसी बीमारी, मानसिक परेशानी या बुरी आदतों की वजह से उत्पन्न होता है , लेकिन उपचार के बावजूद इससे छुटकारा न मिले, तो समझिए कमरे का वास्तु ठीक नहीं है। जीहां, नींद नहीं आने के वास्तु के हिसाब से बहुत सारे कारण हो सकते हैं, बता रहे हैं वास्तु एक्सपर्ट एसके मेहता...
- आप उत्तर दिशा में सिर करके सोते हों।
- दरवाजे की तरफ़ सिर करके सोते हों।
- बीम या टांड के नीचे आपका पलंग हो।
- पलंग या पलंग का गद्दा उत्तर या पूर्व दिशा में ऊंचा हो।
- पलंग पर बैठकर खाना खाते हों।
- बेड के अग्निकोण में पानी की बोतल या जग भरकर रखते हों।
- आपके कमरे के चार की जगह पांच कोने हों या कमरे की दीवारें गुणिया में (90 डिग्री ) ना हों।
- कमरे का कलर या दिशा आपके हिसाब से शुभ ना हो या फ़र्नीचर गहरे व डल कलर का हो।
- कमरे की उत्तर-पूर्व या ईशान दिशा ज़्यादा भारी हो।
- पश्चिम या नैऋत्य दिशा की खिड़की या दरवाजे से पूरे दिन बेडरूम में सूर्य का प्रकाश आता हो।
- बेडरूम से अटैच टॉयलेट हो, जिसका गेट खुला रहता हो।
- कमरे में कोई अशुभ फ़ोटो, सीनरी, मूर्ति या फ़ूल-पौधे रखे हों।
- बेड के सामने मिरर हो या मिरर अशुभ स्थान में लगा हो।
- कमरे के फ़र्श का ढलान दक्षिण-पश्चिम में हो या बहुत ज़्यादा ढलान हो।
- बेडरूम की फॉल्ससीलिंग का डिज़ाइन ज़्यादा हैवी या सही ना हो।
- बेडरूम में अग्नि तत्व की वस्तुएं, जैसे फ्रिज, इन्वर्टर, गैस सिलेंडर रखे हुए हों।
- बेडरूम में देर रात तक टीवी या कम्प्यूटर चलता हो या मोबाइल का ज्यादा इस्तेमाल करने की आदत पड़ गई हो।
- आपके कमरे के पोर्शन का ईशान या नैऋत्य कोण कटा हुआ हो।
- बेडरूम में प्रॉपर वेंटिलेशन या प्रकाश की कमी हो।
- बेडरूम के गेट के सामने सीढ़ियां हों।
- दरवाजे खोलते-बंद करते समय चर-चर की आवाज़ आती हो।
- बेडरूम में नाइट लैम्प या बल्ब का रंग सही न हो।